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'महिलाओं को समान अवसर मिलने चाहिएं'

उपराष्‍ट्रपति ने दिए वूमैन ट्रांसफॉर्मिंग इंडिया अवॉर्ड्स

महिला आरक्षण बिल पर राजनीतिक दलों से अपील

स्वतंत्र आवाज़ डॉट कॉम

Tuesday 18 December 2018 02:40:07 PM

vice president distributed woman transforming india awards

नई दिल्ली। उपराष्‍ट्रपति एम वेंकैया नायडू ने दिल्‍ली में नीति आयोग, डब्‍ल्‍यूईपी तथा भारत में संयुक्‍तराष्‍ट्र कार्यालय के आयोजित महिला उद्यमियता मंच सम्मेलन को संबोधित करते हुए सभी राजनीतिक दलों से अपील की है कि वे सर्वसम्‍मति कायम करके महिला आरक्षण विधेयक का पारित होना सुनिश्चित करें, ताकि महिलाओं को संसद और राज्‍य विधानसभाओं में आरक्षण मिल सके। उन्‍होंने कहा कि पंचायतों और नगरपालिकाओं में महिलाओं के लिए आरक्षण सफल साबित हुआ है। उपराष्‍ट्रपति ने सम्मेलन में विभिन्न क्षेत्रों में उल्लेखनीय योगदान के लिए महिलाओं को वूमैन ट्रांसफॉर्मिंग इंडिया अवॉर्ड्स 2018 भी प्रदान किए। उपराष्‍ट्रपति ने कहा कि इस समय भारत के सकल घरेलू उत्‍पाद यानी जीडीपी में महिलाओं का योगदान 17 प्रतिशत है, जो वैश्विक औसत 37 प्रतिशत से काफी कम है।
उपराष्‍ट्रपति वेंकैया नायडू ने कहा कि भारत में केवल 27 प्रतिशत महिलाएं ही लाभप्रद रोज़गार में हैं, यह संख्‍या देश में कानून निर्माताओं के सामने चुनौती प्रस्‍तुत करती है और यहीं डब्‍ल्‍यूईपी के जरिए महिला उद्यमियों को सशक्‍त बनाने के लिए नीति आयोग के प्रयास सराहनीय हैं। उन्‍होंने कहा कि अगर किसी भी देश की आधी आबादी को उसकी प्रगति में समान भागीदार बनने के लिए प्रोत्‍साहित न किया जाए तो वह कभी तरक्‍की नहीं कर सकता। उन्‍होंने कहा कि अच्‍छी ख़बर यह है कि भारत ने पिछले कुछ वर्ष में महिला उद्यमियता के क्षेत्र में काफी प्रगति की है। उन्‍होंने कहा कि देशभर में 80 लाख से ज्यादा महिलाओं ने या तो अपना कारोबार शुरू किया है या वे अपना कारोबार चला रही हैं। उन्‍होंने कहा कि अपना उद्यम शुरू करने वाली 58 प्रतिशत से ज्‍यादा महिलाओं की आयु 20 से 30 साल के बीच है और इस सिलसिले को जारी रखने का दायित्‍व डब्‍ल्‍यूईपी और स्‍टार्टअप इंडिया पर है। वेंकैया नायडू ने कहा कि महिलाओं के साथ हर तरह का भेदभाव समाप्‍त होना चाहिए, भले ही यह भेदभाव वेतन के संबंध में हो या करियर में तरक्‍की के सीमित अवसरों के संबंध में हो।
वेंकैया नायडू ने कहा कि निजी क्षेत्र समान रोज़गार अवसर उपलब्‍ध कराकर इस भेदभाव को समाप्‍त करने में महत्‍वपूर्ण भूमिका निभा सकता है। उपराष्‍ट्रपति ने कहा कि महिलाओं को समान अवसर मिलने चाहिएं, उन्हें अच्‍छी शिक्षा, सभी क्षेत्रों में समान अवसर, कौशल के माध्‍यम से सशक्तिकरण, भेदभाव व शोषण से मुक्ति तथा सम्‍पत्ति में समान अधिकार सहित आर्थिक उत्‍थान के अनुकूल परिस्थितियां मुहैया कराई जानी चाहिएं। उन्होंने इस बात पर प्रसन्‍नता व्‍यक्‍त की कि झारखंड सरकार ने सालभर में 55,000 महिला मिस्त्रियों को प्रशिक्षित किया है, जिन्‍हें रानी मिस्‍त्री कहा जाता है, इन रानी मिस्‍त्रियों ने राज्‍य को खुले में शौच से मुक्‍त होने का दर्जा दिलाने में महत्‍वपूर्ण भूमिका निभाई है और स्‍वच्‍छ भारत अभियान के अंतर्गत 15 लाख से ज्‍यादा शौचालयों के निर्माण में सहायता की है।
उपराष्‍ट्रपति ने देश के विभिन्‍न हिस्‍सों में विविध क्षेत्रों में उत्‍कृष्‍ट भूमिका निभाने वाली की 13 महिलाओं को वूमैन ट्रांसफॉर्मिंग इंडिया अवॉर्ड्स 2018 से सम्‍मानित किया। उपराष्‍ट्रपति ने प्रगति के अनिवार्य घटक तथा विकास के लिए आवश्‍यक पूर्व शर्त-महिला सशक्तिकरण से संबंधित विभिन्‍न पहलुओं पर चर्चा करने के लिए डब्‍ल्‍यूईपी शिखर सम्‍मेलन के सृजन के लिए नीति आयोग को बधाई दी। उन्‍होंने कहा कि नीति आयोग के डब्‍ल्‍यूटीआई अवॉर्ड महिला उद्यमियों की उपलब्धियों का सम्‍मान करने का प्रयास है। उन्‍होंने कहा कि नीति आयोग ने महिला सशक्तिकरण और महिला-पुरुषों में समानता को हमेशा अपनी नीति के केंद्र में रखा है। इस अवसर पर नीति आयोग के मुख्‍य कार्यकारी अधिकारी अमिताभ कांत, भारत में संयुक्‍तराष्‍ट्र के रेजीडेंट कोऑर्डिनैटर यूरी अफनासिएव, टेनिस खिलाड़ी सानिया मिर्जा और गणमान्‍य नागरिक मौजूद थे।

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