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'श्यामा प्रसाद मुखर्जी का जीवन प्रेरणामयी'

बलिदान दिवस पर राज्यपाल ने अर्पित की श्रद्धांजलि

सिविल अस्पताल के प्रांगण में श्रद्धांजलि कार्यक्रम

स्वतंत्र आवाज़ डॉट कॉम

Saturday 23 June 2018 05:17:05 PM

dr. shyama prasad mukherjee tribute

लखनऊ। उत्तर प्रदेश के राज्यपाल राम नाईक ने कहा है कि कश्मीर भारत का अविभाज्य अंग है और डॉ श्यामा प्रसाद मुखर्जी का मानना था कि ‘एक देश में दो निशान, दो प्रधान और दो विधान’ नहीं होना चाहिएं, इस बात को मनवाने को लेकर उन्होंने सत्याग्रह भी किया था। राज्यपाल ने आज देश के महान स्वतंत्रता सेनानी और शिक्षाविद् डॉ श्यामा प्रसाद मुखर्जी के बलिदान दिवस पर डॉ श्यामा प्रसाद मुखर्जी सिविल चिकित्सालय लखनऊ के प्रांगण में उनकी प्रतिमा पर पुष्प अर्पितकर उन्हें श्रद्धांजलि दी और इस अवसर पर आयोजित स्मृति कार्यक्रम को संबोधित किया। राज्यपाल राम नाईक ने कहा कि डॉ श्यामा प्रसाद मुखर्जी देश के आदर्श राजनेता थे, हम उनके मार्ग का अनुसरण करें, यही उनके प्रति हमारी सच्ची श्रद्धांजलि होगी।
राज्यपाल राम नाईक ने कहा कि उन्होंने सदैव राष्ट्रीय एकता की स्थापना को अपना प्रथम लक्ष्य रखा, आज के परिप्रेक्ष्य में उनके जैसा सिद्धांतवादी व्यक्तित्व युवावर्ग के लिए प्रकाश स्तम्भ के समान है। राम नाईक ने कहा कि महात्मा गांधी के कहने पर आजादी के बाद प्रथम केंद्रीय मंत्रिमंडल में कोलकाता से डॉ श्यामा प्रसाद मुखर्जी और महाराष्ट्र से बाबासाहेब डॉ भीमराव आंबेडकर को स्थान दिया गया, जिसमें कश्मीर को लेकर वैचारिक मतभेद होने के कारण डॉ श्यामा प्रसाद मुखर्जी ने मंत्रिमंडल से त्यागपत्र दे दिया और भारतीय जनसंघ की स्थापना की एवं लोकसभा में जनसंघ के मात्र तीन सदस्य होने के बावजूद भी विपक्ष के लोगों ने एकजुट होकर डॉ श्यामा प्रसाद मुखर्जी को नेता विपक्ष के रूपमें मान्यता दी। उन्होंने कहा कि डॉ श्यामा प्रसाद मुखर्जी ने अपने सिद्धांतों और विचारों से कभी समझौता नहीं किया। राज्यपाल ने कहा कि डॉ श्यामा प्रसाद मुखर्जी का जीवन प्रेरणामयी था, उनमें अद्भुत विद्वता थी तथा उनकी भाषाशैली की विशेषता थी कि बड़ी सहजता से वे अपनी बात दूसरों तक पहुंचा देते थे।
राज्यपाल राम नाईक ने कहा कि महज 33 वर्ष की आयु में डॉ श्यामा प्रसाद मुखर्जी कोलकाता विश्वविद्यालय के कुलपति बने थे, जो अपने आपमें एक उदाहरण है। उन्होंने कहा कि डॉ श्यामा प्रसाद मुखर्जी महान शिक्षाविद् चिंतक और भारतीय जनसंघ के स्थापक के रूपमें जाने जाते हैं। उन्होंने कहा कि देश की स्वतंत्रता और संविधान की रक्षा के लिए डॉ श्यामा प्रसाद मुखर्जी ने अपने जीवन का बलिदान दिया था। श्रद्धांजलि कार्यक्रम में उत्तर प्रदेश सरकार में मंत्री रीता बहुगुणा जोशी, मंत्री बृजेश पाठक, राज्यमंत्री स्वाति सिंह, राज्यमंत्री डॉ महेंद्र सिंह, राज्यसभा सांसद अशोक बाजपेई, विधायक सुरेश श्रीवास्तव, लखनऊ की महापौर डॉ संयुक्ता भाटिया, डॉक्टर्स और गणमान्य नागरिक उपस्थित थे।

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