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वन है तो जन और जीवन है-मुख्यमंत्री

योगी ने किया 'गंगा हरीतिमा अभियान' का शुभारंभ

'विरासत की प्रतीक मां गंगा के संरक्षण का आह्वान'

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Sunday 8 April 2018 11:17:09 AM

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इलाहाबाद। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इलाहाबाद भ्रमण कार्यक्रम के तहत परेड ग्राउंड इलाहाबाद में वन विभाग के ‘गंगा हरीतिमा अभियान’ का शुभारंभ और कुम्भ-2019 के 156 कार्यों का शिलान्यास किया, जिसमें लोक निर्माण विभाग के 26, सेतु निगम के 1, पावर कारपोरेशन के 5, जलनिगम के 8, नगरनिगम के 18, स्वास्थ्य विभाग के 8, पुलिस विभाग के 19, बाढ़ कार्य के 2, नगरपंचायत झूंसी के 14, एडीए के 44, सड़क परिवहन के 6, पर्यटन विभाग के 4 और एमएनएनआईटी के 1 कार्य शामिल हैं, जिसकी कुल लागत 68419.66 लाख रुपये है। मुख्यमंत्री ने कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि विश्व स्वास्थ्य दिवस पर तीर्थराज प्रयाग की धरती पर वन एवं पर्यावरण मंत्रालय के अभिनव कार्यक्रम गंगा हरीतिमा अभियान का शुभारंभ करते हुए हर्ष हो रहा है। उन्होंने कहा कि वन विभाग अपनी एक नई पहचान बना रहा है, जिसका परिणाम यह है कि विरासत की प्रतीक मां गंगा के संरक्षण के लिए, उसकी अविरलता एवं निर्मलता को बनाए रखने के लिए वन विभाग अपनी जिम्मेदारियों का निर्वहन कर रहा है, यह एक पवित्र अभियान है।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने नमामि गंगे परियोजना का प्रारंभकर गंगा को अविरल एवं निर्मल बनाने का संकल्प लिया था, उसी संकल्प को आगे बढ़ाते हुए वन विभाग ने गंगा हरीतिमा अभियान को अपने हाथ में लिया है। उन्होंने कहा कि नदियों के दोनों तटों को हरा-भरा रखना होगा। योगी आदित्यनाथ ने कहा कि गंगा हरीतिमा अभियान गंगा की अविरलता एवं निर्मलता बनाए रखने में एक निर्णायक भूमिका अदा कर सकता है, इससे आमजन को जोड़ा जाए। मुख्यमंत्री ने कहा कि अभियान के तहत वृक्षारोपण कार्य इस प्रकार से किया जाए कि एक परिवार एक पंचवटी का निर्माण करे और गंगा के दोनों तटों पर व्यापक रूपसे औषधीय वृक्षों को लगाया जाए, इससे बाढ़ की समस्या नहीं होगी और गंगा की अविरलता एवं निर्मलता के संकल्प को भी पूरा किया जा सकेगा। उन्होंने कहा कि पांच राज्यों में बहने वाली गंगा का अधिकतम भाग उत्तर प्रदेश में है। योगी आदित्यनाथ ने कहा कि प्रयागराज कुम्भ मेले को यूनेस्को ने सांस्कृतिक धरोहर के रूपमें शामिल किया है, कुम्भ को इस अभियान से जोड़ते हुए हर वर्ग के लोग, साधु संत भी अभियान से जुडे़ं। उन्होंने कहा कि वन है तो जन है और जन है तो जीवन है और जीवन है तो हम सब हैं।
योगी आदित्यनाथ ने कहा कि गंगा के तटवर्ती नगरों, कस्बों, गांवों को सुंदर एवं सुव्यवस्थित बनाने के अभियान में नागरिकों को जुड़ना चाहिए। उन्होंने कहा कि प्रयागराज की धरती पर लगने वाला कुम्भ एक सामाजिक, आध्यात्मिक एवं सांस्कृतिक आयोजन है, इससे संबंधित योजनाओं को अक्टूबर 2018 तक पूरा किया जाना है। उन्होंने कहा कि कुम्भ का आयोजन सबके लिए एक भव्य आयोजन होगा, यह दुनिया के सामने उत्तर प्रदेश की एक नई तस्वीर प्रस्तुत करेगा और यह प्रयागवासियों के लिए अतिथियों की सेवा करने का सुनहरा अवसर है। मुख्यमंत्री ने कहा कि लोक निर्माण विभाग, स्वास्थ्य विभाग, नगर विकास आदि विभाग एक संयुक्त रूपसे कुंभ की तैयारी कर रहे हैं, जिसमें देश-विदेश से आने वाले करोड़ों श्रद्धालुओं की मूलभूत सुविधाओं एवं उनकी सुरक्षा संबंधित व्यवस्था की जा रही है। उन्होंने लोगों का आह्वान किया है कि अतिथि देवो भवः की परंपरा के अनुरूप आगंतुकों का स्वागत करें। मुख्यमंत्री ने कहा कि उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य के नेतृत्व में लोक निर्माण विभाग प्रयागराज की धरती के साथ पूरे उत्तर प्रदेश में उत्कृष्ट सड़कों का निर्माण कर रहा है, उसी तरह नगरविकास मंत्री सुरेश खन्ना के नेतृत्व में नगर विकास विभाग नगरीय क्षेत्रों में आधारभूत संरचना के निर्माण के साथ जनता तक बुनियादी सुविधाओं को प्रदान करने के लिए निरंतर कार्य कर रहा है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रयागराज की धरती पर माघ मेले में स्वास्थ्य मंत्री सिद्धार्थनाथ के नेतृत्व में कुम्भ के दृष्टिगत स्वास्थ्य एवं स्वच्छता संबंधी सफल प्रयोग किया गया है, जिससे माघ मेले के समाप्त होने पर मेले में किसी प्रकार की गंदगी नहीं रही। उन्होंने माघ मेले में की गई स्वच्छता योजना के लिए स्वास्थ्य मंत्री सिद्धार्थनाथ सिंह एवं नगर विकास मंत्री सुरेश खन्ना, मंडलायुक्त डॉ आशीष कुमार गोयल, जिलाधिकारी सुहास एलवाई, मेलाधिकारी विजय किरन आनंद सहित अभियान में लगे अधिकारियों को बधाई दी और कहा कि इसी तरह आगामी कुम्भ में भी स्वच्छता एवं जन सुविधाओं को प्राथमिकता के आधार पर रखा जाएगा। योगी आदित्यनाथ ने जानकारी देते हुए कहा कि कैबिनेट मंत्री नंदगोपाल गुप्ता ‘नंदी’ के नेतृत्व में प्रयागराज की धरती पर हवाई नेटवर्क को स्थापित करते हुए उत्तर प्रदेश के विभिन्न शहरों को जोड़ा जा रहा है, इसी तरह जलमार्ग से प्रयागराज को जोड़ने में प्रधानमंत्री के सहयोग से केंद्रीय सड़क एवं परिवहन मंत्री नितिन गडकरी एवं उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य ने इस अभियान में जुड़कर कुम्भ आयोजन के पहले जलमार्ग विकसित करने की योजना बनाई है। कुम्भ आयोजन में श्रद्धालुओं के लिए आने के लिए जल मार्ग, सड़क मार्ग एवं वायु मार्ग होगा। उन्होंने कहा कि वन महोत्सव पर हर व्यक्ति एक वृक्ष लगाए और पंचवटी वाटिका, नवग्रह वाटिका और वाटिका के रूपमें विकसितकर व्यापक पैमाने पर वृक्ष नदी के तट पर, नगरों में तथा रिक्त स्थानों पर लगाए जाएं।
नगरविकास मंत्री सुरेश खन्ना ने वन विभाग के गंगा हरीतिमा अभियान की प्रशंसा की। उन्होंने कहा कि कुम्भ आयोजन देश का ही नहीं, बल्कि पूरे विश्व के आकर्षण का केंद्र है। कैबिनेट मंत्री नंदगोपाल गुप्ता ‘नंदी’ ने कहा कि सरकार की योजनाओं को जमीनी स्तर पर पहुंचाने का कार्य किया जा रहा है, योजनाओं का लाभ पात्र आदमी तक पहुंचे, राज्य सरकार इसके लिए निरंतर कार्य कर रही है। कैबिनेट मंत्री दारा सिंह चौहान ने कहा कि गंगा हरीतिमा अभियान के तहत गंगा को अविरल एवं निर्मल बनाने तथा वन संरक्षण का संदेश दे रहे गुमनाम लोगों को मुख्यमंत्री गंगा सेवक के रूपमें सम्मानित करेंगे। वन एवं पर्यावरण राज्यमंत्री उपेंद्र तिवारी ने लोगों से अपील करते हुए कहा कि अपने घर पैदा होने वाले बच्चे के जन्म पर एक वृक्ष लगाने का संकल्प जरूर लें, जिससे वृक्षारोपण के अभियान को पूरा किया जा सकेगा। मुख्यमंत्री ने गंगा की सेवा करने वाले प्रदेश के विभिन्न क्षेत्रों से चयनित व्यक्तियों को उत्कृष्ट सेवा के लिए प्रशस्ति पत्र एवं शाल भेंट किया और कहा कि गंगा की सेवा एक पुनीत कार्य है और इनसे प्रेरणा लेनी चाहिए।
ज्ञातव्य है कि गंगा के किनारे 11 मंडलों के 27 जनपदों बुलंदशहर, हापुड़, मेरठ, मुजफ्फरनगर, अलीगढ़, कासगंज, बिजनौर, सम्भल, अमरोहा, बदायूं, शाहजहांपुर, हरदोई, रायबरेली, उन्नाव, फर्रूखाबाद, कन्नौज, कानपुर नगर, चन्दौली, इलाहाबाद, कौशाम्बी, फतेहपुर, प्रतापगढ़, भदोही, मिर्जापुर, गाजीपुर, वाराणसी और बलिया के अंतर्गत प्रदेश में गंगा हरीतिमा अभियान गंगा नदी के दोनों ओर तटीय क्षेत्रों में जनजागरुकता, जनसहभागिता तथा सरकारी विभागों के माध्यम से सघन वृक्षारोपण, स्वच्छता, मृदा एवं जल संरक्षण तथा प्रदूषण की रोकथाम की जा रही है। गंगा हरीतिमा अभियान के सफल क्रियांवयन हेतु वन एवं वन्य जीव विभाग और 12 अन्य राजकीय विभाग, जिनमें पंचायती राज विभाग, सूचना एवं जनसम्पर्क विभाग, संस्कृति, बेसिक, माध्यमिक एवं उच्च शिक्षा विभाग, युवा कल्याण एवं प्रान्तीय रक्षकदल विभाग, महिला कल्याण विभाग, ग्राम्यविकास विभाग, समाज कल्याण विभाग, कृषि विभाग, उद्यान विभाग, सिंचाई विभाग और आयुष विभाग के दायित्व निर्धारित किए गए हैं। कार्यक्रम में मुख्यमंत्री ने विश्व प्रसिद्ध फोटो ग्राफर, फिल्म निर्माता एवं प्रदेश के इको टूरिज्म के ब्रांड एम्बेसडर माईक पांडे के गंगा चलचित्र का लोकार्पण किया। उन्होंने उत्तर प्रदेश वन विभाग की गंगा के किनारे की प्राचीन वनस्पतियां एवं डॉ महेंद्र प्रताप सिंह की राम वनगमन पथ की वनस्पतियां पुस्तकों का विमोचन किया। उन्होंने गंगा गीतों के संकलन का विमोचन भी किया, जिसमें शकील कुरैशी, सुजाय बनर्जी, मंजुला पंत, आनंद त्रिपाठी और रंजना अग्रहरि के गीतों को संकलित किया गया है।

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