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आत्मशक्ति ट्रस्ट का गाज़ियाबाद में सेवाकार्य

गांवों के गरीब मजदूर परिवारों में खाद्यान्न का वितरण

आत्मशक्ति ट्रस्ट ने सहयोगार्थियों का आभार जताया

स्वतंत्र आवाज़ डॉट कॉम

Saturday 9 May 2020 06:34:58 PM

atma shakti trust's service work in ghaziabad

गाज़ियाबाद। आत्मशक्ति ट्रस्ट ने आज गाज़ियाबाद के पासोंडा गांव के करीब 200 बेहद गरीब मजदूर परिवारों को प्रति परिवार 15 किलो गेहूं का आटा, 2 किलो दाल, 1 किलो नमक, 1 किलो चीनी का वितरण किया। ज्ञातव्य है कि दो दिन पहले आत्मशक्ति ट्रस्ट ने नोयडा सेक्टर 49 जेजे कॉलोनी एवं सेक्टर 81 सलारपुर मेट्रो स्टेशन के पास के स्लम एरिया में खाद्यान्न सामग्री का वितरण किया था। आत्मशक्ति ट्रस्ट की कार्यकारी ट्रस्टी रूचि कश्यप ने कहा है कि लॉकडाउन से लाखों लोग बेरोज़गारी और भूख के शिकार हैं, बहुत से ऐसे परिवार हैं, जिनका बड़ा परिवार है और अपने एवं परिवार के लिए भोजन जुटाना मुश्किल हो गया है।
ट्रस्टी रूचि कश्यप ने बताया कि आत्मशक्ति ट्रस्ट ने गाजियाबाद के गाजीपुर, साहिबाबाद एवं लोनी, गौतमबुद्ध नगर के नोयडा एवं ग्रेटर नोयडा तथा गुरुग्राम के भोंडसी में कुल 19 क्षेत्रों की मलिन बस्तियों के रह रहे परिवारों को मदद पहुंचाई है। उन्होंने बताया कि अबतक 42 लाख की सहयोग राशि जुटाकर कुल 100660 किलोग्राम चावल, 7260 किलोग्राम गेंहू का आटा, 21050 किलोग्राम दाल, 997 लीटर खाना पकाने का तेल, 9607 किलोग्राम नमक, 972 किलोग्राम मसाले, 115 किलोग्राम चीनी से मदद की गई है। उन्होंने इस हेतु फूड कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया द्वारा बाजार दर से कम पर चावल दिए जाने के लिए और दिल्ली आटा मिल द्वारा 11000 किलोग्राम गेहूं का आटा ट्रस्ट को उपलब्‍ध कराने के लिए आभार व्यक्त किया है।
गरीब परिवार मुख्य रूपसे उत्तर प्रदेश, झारखंड, बिहार, पश्चिम बंगाल और ओडिशा के ग्रामीण इलाकों से पलायन करके रोज़गार के लिए एनसीआर में आए हैं। ये कूड़ा बीनने वाले, घरेलू कामगार, रिक्शा चालक, दैनिक मजदूर एवं कंपनियों में काम करने वाले हैं, इनके पास कोई स्थानीय राशन कार्ड एवं पहचान नहीं होने के कारण सरकार से मदद नहीं मिल पा रही है। आत्मशक्ति टीम के सदस्य फंड जुटाने, जरूरतमंद परिवारों के बारे में जानकारी एकत्र करने और वितरण व्यवस्था के लिए निरंतर प्रयासरत हैं। आत्मशक्ति टीम के सदस्य गोपाल, अरुण, नेहा, निमिषा, संध्या, नबकिशोर, संतोष कुमार और स्थानीय स्वयंसेवकों बालीचरण, सतीश कुमार का इस कार्य में उल्लेखनीय योगदान है। ट्रस्ट ने स्थानीय प्रशासन, स्वयंसेवकों, समुदाय के सदस्यों का भी पैकिंग, वितरण, परिवहन आदि के लिए आभार जताया है।

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