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इंदिरा जी हरित क्रांति लाईं-पीएम

इंदिरा गांधी राष्‍ट्रीय एकता पुरस्‍कार समारोह

स्वतंत्र आवाज़ डॉट कॉम

Thursday 31 October 2013 09:19:22 AM

manmohan singh and sonia gandhi

नई दिल्‍ली।इंदिरा गांधी राष्‍ट्रीय एकता पुरस्‍कार समारोह में प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने कहा है कि इंदिरा जी ने हमेशा देश की सामाजिक और आर्थिक प्रगति के लिए काम किया है, वह आर्थिक विकास का फायदा आम आदमी तक और विशेष रूप से कमज़ोर तबकों तक पहुंचाना चाहती थीं, उन्हें मालूम था कि घर-घर तक खुशहाली पहुंचने से अपने देश और समाज में हमारा विश्वास बढ़ता है और हमारी एकता मज़बूत होती है, उन्हें यह भी मालूम था कि घर-घर तक खुशहाली पहुंचाने के लिए कृषि का तेज़ विकास करना बहुत ही ज़रूरी है, क्योंकि देश की आबादी का एक बड़ा हिस्सा कृषि पर निर्भर है।
प्रधानमंत्री ने कहा कि इंदिरा जी ने देश में हरित क्रांति लाने का काम किया, इस महान काम की बदौलत हम अनाज उत्पादन में आत्मनिर्भर हो पाए हैं, एक देश के रूप में हमारा आत्म विश्वास भी बढ़ा है, क्योंकि हमने उस स्थिति को बदला, जिसमें हमें बड़े पैमाने पर अनाज का बाहर से आयात करना पड़ता था। उन्‍होंने कहा कि हरित क्रांति में डॉ एमएस स्वामीनाथन का एक बहुत बड़ा योगदान रहा, इनमें अनोखी वैज्ञानिक और प्रशासनिक काबिलियत है, जिसका पूरा फायदा हमारे देश व हमारे किसानो को मिला, यह कहना गलत नहीं होगा कि इंदिरा जी के नेतृत्व और डॉ स्वामीनाथन की अनथक मेहनत की वजह से भारत में जो हरित क्रांति आई, उसी की बुनियाद पर आगे काम करके आज हम खाद्य सुरक्षा कानून लागू कर पाए हैं।
उन्‍होंने कहा कि मैं डॉ स्वामीनाथन की उपलब्धियों के बारे में जितना भी कहूं कम होगा, उनको राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर जो सम्मान मिले हैं, वह उनकी कामयाबियों का सुबूत हैं, मैं सिर्फ इतना और कहना चाहूंगा कि डॉ स्वामीनाथन ने अपने काम में हमेशा गरीबों और कमज़ोर तबकों की भलाई का ख्याल रखा है, उन्होंने ऐसी तकनीकों और तरीकों पर ज़ोर दिया है, जिससे पर्यावरण को नुकसान न हो और जो स्थाई तौर पर अपनाई जा सकें, ऐसा करने से ही हमारे किसानों और ख़ास तौर पर छोटे किसानों की आजीविका सुरक्षित रह सकती है। डॉ स्वामीनाथन ने अपने काम में महिलाओं के हितों का भी खास ध्यान रखा है, कृषि के क्षेत्र में काम कर रही महिलाओं को सशक्त बनाने की दिशा में प्रयास करने के लिए उन्हें सम्मानित भी किया गया है।

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