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भारत के कॉफी बाग़ानों केलिए डिज़िटल पहलें

बाग़ानों में काम करने वाले मजदूरों का काम होगा आसान

वाणिज्य मंत्री ने लांच किया 'कॉफी कनेक्ट-इंडिया' एप

स्वतंत्र आवाज़ डॉट कॉम

Wednesday 5 September 2018 02:48:53 PM

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नई दिल्ली। केंद्रीय वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री सुरेश प्रभु ने एक कार्यक्रम में कॉफी हितधारकों के लिए डिज़िटल मोबाइल विस्तार सेवाएं 'कॉफी कनेक्ट-इंडिया कॉफी फील्ड फोर्स' और 'कॉफी कृषिथारंगा' एप लांच किए। सुरेश प्रभु ने इस अवसर पर कहा कि मोबाइल एप कॉफी कनेक्ट को बाग़ानों में काम करने वाले मजदूरों का काम आसान करने और उनकी कार्यक्षमता बढ़ाने के लिए विकसित किया गया है। उन्होंने बताया ‌कि कॉफी कृषिथारंगा सेवा शुरू करने का उद्देश्य उत्पादन, लाभ, वातावरण, निरंतरता को बढ़ाने के लिए सही सूचना और सेवाएं प्रदान करना है।
सुरेश प्रभु ने बताया कि कॉफी कृषिथारंगा का कर्नाटक राज्य के चिकमंगलूर और हासन जिलों में 30,000 से अधिक किसानों पर पहले साल के दौरान प्रायोगिक परीक्षण हो चुका है और चरणबद्ध तरीके से इसका विस्तार बाकी कॉफी उत्पादकों तक होगा। उन्होंने बताया कि नाबार्ड ने इस प्रायोगिक परियोजना के लिए आंशिक आर्थिक मदद दी है। सुरेश प्रभु ने डाटा विश्लेषण, आर्टिफिशियल इंटेलीजेशन, आईओटीएस और ब्लॉकचेन पर भी प्रायोगिक परियोजनाएं शुरू कीं।
गौरतलब है कि भारत में 4.54 लाख हेक्टेयर जमीन पर कॉफी की खेती होती है। कॉफी की खेती मुख्यतः कर्नाटक में 54 प्रतिशत, केरल में 19 प्रतिशत और तमिलनाडु में 8 प्रतिशत होती है। कॉफी की खेती आंध्र प्रदेश, ओडिशा और पूर्वोत्तर के राज्यों में भी होती है। भारत सरकार की डिज़िटल पहलों के अनुरूप कॉफी बोर्ड ने कॉफी क्षेत्र के प्रौद्योगिकीय विकास के लिए कई महत्वपूर्ण डिजिटल पहलें शुरू की हैं। इन पहलों का उद्देश्य कॉफी क्षेत्र से जुड़े सभी हितधारकों को लाभ पहुंचाना है।

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