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'सरपंच अपने गांव को सक्षम नेतृत्‍व दें'

ग्रामीण क्षेत्रों के कायाकल्‍प विषय पर कार्यशाला

गांव बढ़ेगा तो देश बढ़ेगा-पंचायतीराज मंत्री

स्वतंत्र आवाज़ डॉट कॉम

Tuesday 24 April 2018 03:12:26 PM

national workshop on rejuvenation of rural areas in panchayat at jabalpur

जबलपुर। राष्‍ट्रीय पंचायतीराज दिवस के दो दिवसीय कार्यक्रम के पहले दिन जबलपुर में पंचायत ने ग्रामीण क्षेत्रों के कायाकल्‍प विषय पर राष्‍ट्रीय कार्यशाला का आयोजन किया, जिसका शुभारंभ केंद्रीय ग्रामीण विकास, पंचायतीराज और खान मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने किया। नरेंद्र सिंह तोमर ने इस अवसर पर कहा कि पंचायतीराज दिवस कार्यशाला से देशभर की ग्राम पंचायतों और पंचायत प्रतिनिधियों को संबंधित मुद्दों पर विचार-विमर्श करने का एक महत्‍वपूर्ण मंच उपलब्‍ध हुआ है और वे इस बारे में विचार साझा कर सकेंगे कि पंचायतों की बुनियाद को और किस तरह मजबूत बनाकर गांवों के कायाकल्‍प में तेजी लाई जाए। नरेंद्र सिंह तोमर ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्‍व में भाजपा सरकार बनने के बाद कोशिश की गई है कि सरकार के महत्‍वपूर्ण राष्‍ट्रीय कार्यक्रमों को दिल्‍ली के वातानुकूलित परिवेश से बाहर लाकर देश के विभिन्‍न क्षेत्रों और अंचलों में भी पहुंचाया जाए, इसी का परिणाम है कि इस बार का आयोजन मध्‍य प्रदेश के मंडला जिले के रामनगर में हो रहा है।
ग्रामीण विकास और पंचायतीराज मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने कहा कि जिस स्‍थान पर पंचायतीराज दिवस का आयोजन हो रहा है, वह रानी दुर्गावती की कर्मस्‍थली रही है, जिन्‍होंने समाज और संस्‍कृति की रक्षा के लिए दोनों हाथों में तलवार लेकर अपना कर्तव्‍य निभाया। पंचायतीराज मंत्री ने कहा कि हमारे देश में पंचायत प्रतिनिधि अत्‍यंत उत्‍साह के साथ लोकतंत्र की प्राथमिक पाठशाला के रूपमें पंचायतीराज संस्‍थाओं और लोकतंत्र की बुनियाद को सशक्‍त बनाने के लिए प्रयत्‍नशील हैं। नरेंद्र सिंह तोमर ने कहा कि हमें यह सोचना है कि नए भारत के निर्माण के लिए हमारा क्‍या योगदान हो सकता है। उन्‍होंने कहा कि इस बात में कोई शक नहीं कि अगर देश के ढाई लाख सरपंच अपने गांव को सक्षम नेतृत्‍व दें और गांव की बुनियाद को केंद्र और राज्‍य शासन के सहयोग से मजबूत और विकसित कर दें तो देश को विकसित राष्‍ट्र बनने से कोई भी नहीं रोक सकता। उन्‍होंने कहा कि गांव बढ़ेगा तो देश बढ़ेगा और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इसी पर अपना ध्‍यान केंद्रित किया है। उन्‍होंने कहा कि जब प्रधानमंत्री ने 15 अगस्‍त को लाल किले की प्राचीर से स्‍वच्‍छ भारत मिशन की बात की थी तो लोगों ने कहा था कि मामूली सा यह विषय प्रधानमंत्री के स्‍तर का नहीं है और उन्‍हें छोटी-छोटी बातों की जगह बड़े और महत्‍वपूर्ण विषयों पर ध्‍यान देना चाहिए।
नरेंद्र सिंह तोमर ने कहा कि अब लोगों को स्‍वच्‍छ भारत अभियान के उद्देश्‍यों और इसकी सफलता को देखकर लगने लगा है कि यह बात छोटी नहीं, बल्कि बहुत बड़ी और देश के लिए आवश्‍यक थी। उन्‍होंने कहा कि आजादी के बाद 70 साल गुजर गए हैं, लेकिन अगर इसे एक अभियान के रूपमें जमीन पर नहीं उतारा जाता तो शायद 140 साल गुजर जाने के बाद भी हम देश को स्‍वच्‍छ नहीं बना पाते। उन्होंने कहा कि साल 2014 के बाद देश में 6 करोड़ शौचालय बनाए गए और 3.50 लाख गांवों ने खुद को खुले में शौच से मुक्‍त घोषित कर दिया है तथा वर्ष 2019 तक देश को खुले में शौच से पूर्णत: मुक्‍त बना दिया जाएगा। पंचायतीराज मंत्री ने कहा कि इससे पंचायतों का मान और देश का स्‍वाभिमान बढ़ा है, लेकिन इस बारे में अभी बहुत कुछ किए जाने की जरूरत है।
पंचायतीराज मंत्री ने कहा कि कार्यशाला में जनप्रतिनिधियों ने विभिन्‍न विषयों पर विचार करने के साथ पंचायतों की भूमिका अधिक व्‍यापक बनाने तथा कठिनाइयों और इनके समाधान जैसे विभिन्‍न मुद्दों पर चर्चा की। उन्‍होंने आशा व्‍यक्त की कि कार्यशाला के निष्‍कर्ष पंचायतों को और सशक्‍त बनाने में काफी मददगार साबित होंगे। कार्यशाला में केंद्रीय पंचायतीराज, कृषि एवं कृषक कल्‍याण राज्‍यमंत्री परषोत्‍तम रूपाला, मध्‍य प्रदेश शासन के पंचायतीराज एवं ग्रामीण विकास मंत्री गोपाल भार्गव, जबलपुर से लोकसभा सांसद और नवनियुक्‍त प्रदेश भाजपा अध्‍यक्ष राकेश सिंह, जिला पंचायत अध्‍यक्ष मनोरमा, केंद्रीय ग्रामीण विकास सचिव अमरजीत सिन्‍हा और वरिष्‍ठ अधिकारी मौजूद थे।

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