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Monday 26 May 2025 12:21:41 PM
उधमपुर। चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ जनरल अनिल चौहान ने जम्मू एवं कश्मीर के उधमपुर में भारतीय सेना की उत्तरी कमान और हरियाणा के चंडी मंदिर सैन्य स्टेशन में पश्चिमी कमान का दौरा किया। उन्होंने सेना के कमांडरों लेफ्टिनेंट जनरल प्रतीक शर्मा, लेफ्टिनेंट जनरल मनोज कुमार कटियार और उन वरिष्ठ स्टाफ अधिकारियों से बातचीत की, जो ऑपरेशन सिंदूर की योजना एवं क्रियांवयन में सक्रिय रूपसे शामिल थे। उन्होंने उत्तरी एवं पश्चिमी क्षेत्रों में रणनीतिक समीक्षा और संचालन संबंधी आकलन किया। उन्हें उधमपुर में ऑपरेशन सिंदूर के दौरान आतंकी नेटवर्क एवं आतंकवाद को समर्थन देने वाली शत्रु की परिसंपत्तियों को प्रभावहीन करने और अपनी सैन्य परिसंपत्तियों एवं नागरिकों की रक्षा केलिए उठाए गए उत्तरी सेना के सफलजवाबी कदमों की जानकारी दी गई। उन्हें शत्रुद्वारा निशाना बनाए गए सीमावर्ती क्षेत्रों के नागरिकों के पुनर्वास के संबंध में उत्तरी सेना के प्रयासों के बारेमें भी बताया गया।
उत्तरी सेना के कमांडर ने सीडीएस को उत्तरी सेना की संचालन एवं लॉजिस्टिक्स संबंधी निरंतर तैयारियों की जानकारी दी और सीमाओं की सुरक्षा केप्रति आश्वस्त किया एवं जम्मू कश्मीर से आतंकवाद को खत्म करने का भी भरोसा दिया। चंडी मंदिर में पश्चिमी सेना के कमांडर ने ऑपरेशन सिंदूर के दौरान गतिज और गैर गतिज दंडात्मक प्रतिक्रिया के बारेमें विस्तृत जानकारी दी। पश्चिमी सीमाओं पर मौजूदा सुरक्षा स्थिति को रेखांकित करते हुए संचालन संबंधी माहौल, रक्षा तैयारियों और अभियान के प्रमुख परिणामों का विस्तृत विवरण दिया गया। तकनीकी समावेशन और उन्नत लॉजिस्टिक्स क्षमता, उच्चस्तर की संचालन दक्षता में योगदान, वास्तविक समय की स्थिति के बारेमें जानकारी, पश्चिमी सेना की सैन्य क्षमता को मजबूत करने की प्रक्रिया पर भी प्रकाश डाला। सीडीएस को सेवारत एवं सेवानिवृत्त कर्मियों को दी जानेवाली वेटरंस केयर और मेडिकेयर सुविधाओं की भी जानकारी दी गई, जो राष्ट्रीय हित में काम करनेवाले लोगों के कल्याण केप्रति भारतीय सेना की दृढ़ प्रतिबद्धता को दर्शाता है।
जनरल अनिल चौहान ने ऑपरेशन सिंदूर के दौरान कर्तव्य निभाते हुए सर्वोच्च बलिदान देने वाले बहादुरों को याद किया और सैन्य कर्मियों की वीरता, दृढ़ संकल्प, सटीकता और अनुशासन की सराहना की। उन्होंने जम्मू कश्मीर और पंजाब में उत्तरी एवं पश्चिमी सीमाओं केलिए जिम्मेदार फील्ड संरचनाओं की संचालन संबंधी उत्कृष्टता को स्वीकार किया। सीडीएस ने चुनौतीपूर्ण परिस्थितियों में समग्र तालमेल और समय पर संचालन संबंधी कार्यों को पूरा करने की प्रशंसा की। उन्होंने उभरते खतरों से निपटने केलिए तीनों सेनाओं में निरंतर सतर्कता, एकजुटता और तालमेल के महत्व पर जोर दिया। उन्होंने शत्रु द्वारा निशाना बनाए गए नागरिकों के पुनर्वास में मदद करने केलिए उनका आह्वान किया। सीडीएस ने उन सैन्य अभियानों के अनुकरणीय आचरण एवं सफल क्रियांवयन की गहरी प्रशंसा की, जिनसे राष्ट्र ने अपने सशस्त्र बलों में व्यक्त विश्वास की पुष्टि की। उन्होंने राष्ट्रीय सुरक्षा के उद्देश्यों को पूरा करने के क्रम में हासिल हुई समग्र सफलता का श्रेय भारतीय सेना के उच्च मनोबल, अनुशासन और अटूट प्रतिबद्धता को दिया।