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'जन केंद्रित शासन के विजन से आगे बढ़ रहा भारत'

प्रधानमंत्री ने सिक्कों की विशेष श्रृंखला एवं जन समर्थ पोर्टल लॉंच किया

वित्त मंत्रालय व कॉरपोरेट मामले मंत्रालय का प्रतिष्ठित सप्ताह समारोह

स्वतंत्र आवाज़ डॉट कॉम

Monday 6 June 2022 06:48:22 PM

pm launches special series of coins and jan samarth portal

नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वित्त मंत्रालय तथा कॉरपोरेट मामले मंत्रालय के प्रतिष्ठित सप्ताह समारोह का उद्घाटन किया और कहा हैकि बीते वर्षों में वित्त मंत्रालय और कॉरपोरेट मामले मंत्रालय ने अपने कार्यों से सही समय पर सही निर्णयों के द्वारा अपनी एक विरासत बनाई है, एक बेहतरीन सफर तय किया है। उन्होंने कहाकि देश के सामान्यजन के जीवन को आसान बनाना हो या फिर देश की अर्थव्यवस्था को सशक्त करना हो, बीते 75 वर्ष में अनेक साथियों ने बहुत बड़ा कंट्रीब्यूशन किया है। यह सप्ताह आज से 11 जून तक ‘आजादी के अमृत महोत्सव’ के हिस्से के रूपमें मनाया जा रहा है। प्रधानमंत्री ने इस अवसर पर क्रेडिट लिंक्ड सरकारी योजनाओं के राष्ट्रीय पोर्टल जन समर्थ पोर्टल लॉंच किया। उन्होंने एक डिजिटल प्रदर्शनी का उद्घाटन किया, जो आठ वर्ष के दौरान दोनों मंत्रालयों की यात्रा का पता लगाती है, 1 रुपया, 2 रुपये, 5 रुपये, 10 रुपये तथा 20 रुपये के सिक्कों की एक विशेष श्रृंखला भी जारी की, सिक्कों की इस विशेष श्रृंखला में एकेएएम के लोगो की थीम होगी तथा दृष्टिबाधित व्यक्तियों केलिए भी यह आसानी से पहचाने जाने योग्य होगी।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहाकि जिस किसी ने भी स्वतंत्रता केलिए लंबे संघर्ष में भाग लिया, उसने इस आंदोलन में एक अलग आयाम जोड़ा तथा इसकी ऊर्जा में बढ़ोतरी की है। उन्होंने कहाकि कुछ लोगों ने सत्याग्रह का मार्ग अपनाया तो कुछ लोगों ने हथियारों का रास्ता चुना, कुछ लोगों ने आस्था और आध्यात्मिकता का सहारा लिया तो कुछ लोगों ने बौद्धिक रूपसे स्वतंत्रता की अलख जगाए रखी और आज हम उन सभीका योगदान स्वीकार करते हैं। प्रधानमंत्री ने कहाकि आज जब हम स्वतंत्रता के 75 वर्ष का समारोह मना रहे हैं तो यह प्रत्येक देशवासी का कर्तव्य हैकि वह अपने स्तर पर विकास में विशेष योगदान दे। उन्होंने कहाकि यही समय है, जब हम अपने स्वतंत्रता सेनानियों के सपनों में नई ऊर्जा समावेशित करें तथा खुद को नए वादों केलिए समर्पित कर दें। प्रधानमंत्री ने कहाकि भारत ने आठ वर्ष में विभिन्न आयामों पर भी कार्य किया है, इस अवधि के दौरान आम लोगों की जो सहभागिता बढ़ी है, उसने देश के विकास को प्रेरणा प्रदान की है तथा देश के सबसे निर्धनों में से निर्धन व्यक्ति को सशक्त बनाया है।
प्रधानमंत्री ने टिप्पणी कीकि स्वच्छ भारत अभियान ने निर्धनों को सम्मान केसाथ जीने का अवसर उपलब्ध कराया, पक्का घर, बिजली, गैस, पानी तथा निशुल्क उपचार ने गरीबों की गरिमा बढ़ाई तथा सुविधाओं में सुधार किया, कोविड अवधि के दौरान निशुल्क राशन की योजना ने 80 करोड़ से अधिक देश्वासियों को भूख के भय से मुक्ति दिलाई। उन्होंने कहाकि हम नागरिकों में अभाव की मानसिकता से बाहर आने तथा बड़े स्वप्न देखने का एक नया आत्मविश्वास देख रहे हैं। प्रधानमंत्री ने कहाकि देश ने अतीत में सरकार-केंद्रित शासन का बड़ा प्रकोप सहा है, लेकिन आज 21वीं सदी का भारत जनकेंद्रित शासन के दृष्टिकोण के साथ आगे बढ़ रहा है। प्रधानमंत्री ने कहाकि पहले यह लोगों की जिम्मेदारी थीकि वे योजनाओं का लाभ उठाने केलिए सरकार के पास जाएं, अब शासन को आम लोगों तक ले जाने तथा उन्हें विभिन्न मंत्रालयों और वेबसाइटों का बेवजह चक्कर लगाने से मुक्ति दिलाने पर जोर दिया जा रहा है। उन्होंने कहाकि क्रेडिट लिंक्ड सरकारी योजनाओं के राष्ट्रीय पोर्टल-जनसमर्थ पोर्टल को लॉंच किया जाना इस दिशा में एक प्रमुख कदम है। उन्होंने कहाकि यह पोर्टल छात्रों, किसानों, व्यावसायियों, एमएसएमई उद्यमियों के जीवन में सुधार लाएगा तथा उनके सपनों को साकार करेगा।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहाकि कोईभी सुधार, अगर इसके उद्देश्य तथा लक्ष्य स्पष्ट हों तथा इसके कार्यांवयन में गंभीरता हो इसके परिणाम ही सुनिश्चित होते हैं। प्रधानमंत्री ने कहाकि इन आठ वर्ष में देश में आरंभ किए गए सुधारों के केंद्र में युवाओं को रखा गया है, इससे उन्हें अपनी क्षमता प्रदर्शित करने में मदद मिलेगी। प्रधानमंत्री ने कहाकि हमारे युवा आसानी से अपनी मनचाही कंपनी खोल सकते हैं, वे सहजता से अपना उद्यम आरंभ कर सकते हैं तथा उन्हें आसानी से चला सकते हैं, इसलिए 30 हजार से अधिक अनुपालनों में कमी किए जने के द्वारा 1500 से अधिक कानूनों को खत्म करके तथा कंपनी अधिनियम के कई प्रावधानों का गैरअपराधीकरण किए जाने के द्वारा, हमने यह सुनिश्चित किया हैकि भारतीय कंपनियां न केवल आगे बढ़ें, बल्कि नई ऊंचाइयां भी अर्जित करें। प्रधानमंत्री ने कहाकि सुधारों में सरकार का फोकस सरलीकरण पर है, जीएसटी ने अब केंद्र और राज्य के कई करों के जाल की जगह ले ली है, देश अब इस सरलीकरण का परिणाम भी देख रहा है। उन्होंने कहाकि अब जीएसटी संग्रह का प्रत्येक महीने एक लाख करोड़ रुपये को पार करना सामान्य हो गया है।
नरेंद्र मोदी ने कहाकि जीईएम पोर्टल ने सरकार में खरीद की प्रक्रिया नए प्रकार से सुविधाजनक बना दिया है तथा सरकार को बिक्री करना अब बहुत सरल हो गया है। प्रधानमंत्री ने जानकारी दीकि पोर्टल केलिए खरीद का आंकड़ा 1 लाख करोड़ को पार कर गया है। उन्होंने उन पोर्टलों की भी चर्चा की जो व्यवसाय करने में सुगमता ला रहे हैं। उन्होंने निवेश के अवसरों की जानकारी केलिए इन्वेस्ट इंडिया पोर्टल, व्यावसायिक औपचारिकताओं के लिए सिंगल विंडो मंजूरी पोर्टल की भी चर्चा की। प्रधानमंत्री ने बतायाकि इस श्रृंखला में जनसमर्थ पोर्टल देश के युवाओं तथा स्टार्टअप इकोसिस्टम की सहायता करेगा। प्रधानमंत्री ने कहाकि आज तब हम सुधार, सरलीकरण तथा सहजता की शक्ति के साथ आगे बढ़ते हैं तो हम एक नए स्तर की सुविधा प्राप्त करते हैं, हमने आठ वर्ष में प्रदर्शित किया हैकि अगर भारत सामूहिक रूपसे कुछ करने का निर्णय लेता है तो भारत विश्व केलिए एक नई आशा बन जाता है। प्रधानमंत्री ने कहाकि आज विश्व भारत को न केवल एक बड़े उपभोक्ता बाजार के रूपमें देख रहा है, बल्कि हमें एक सक्षम, रूपांतरकारी, रचनाशील, नवोन्मेषी इकोसिस्टम के रूपमें भी देख रहा है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहाकि विश्व का एक बड़ा हिस्सा चाहता हैकि भारत समस्याओं का समाधान करे, ऐसा इसलिए संभव है, क्योंकि इन आठ वर्ष के दौरान हमने आम भारतीयों की बुद्धि पर विश्वास किया है। प्रधानमंत्री ने यूपीआई की उपलब्धि का उल्लेख करते हुए कहाकि हमने आम लोगों को विकास में बुद्धिमान सहभागियों के रूपमें प्रोत्साहित किया है और हमने हमेशा पायाकि सुशासन केलिए जोभी प्रौद्योगिकी लागू की जाती है, उसे न केवल लोगों द्वारा अपनाया जाता है, बल्कि उनके द्वारा सराहना भी की जाती है। उन्होंने कहाकि हमारे बैंक, हमारी करेंसी इंटरनेशनल सप्लाई चेन, इंटरनेशनल ट्रेड का व्यापक हिस्सा कैसे बनें, इसपर भी फोकस ज़रूरी है। इस अवसर पर केंद्रीय वित्त एवं कार्पोरेट मंत्री निर्मला सीतारमण, राज्यमंत्री राव इंद्रजीत सिंह, पंकज चौधरी, भागवत कृष्णराव कराड और गणमान्य नागरिक उपस्थित थे।

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