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बिजनौर में बाढ़ से तबाही, अराजक तत्वों का बोलबाला

भाजपा अध्यक्ष सूर्यप्रताप शाही का बाढ़ग्रस्त क्षेत्रों का दौरा

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up bjp president surya pratap shahi/सूर्यप्रताप शाही

लखनऊ/शेरकोट/बिजनौर। भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष सूर्यप्रताप शाही ने पश्चिम उत्तर प्रदेश के बाढ़ग्रस्त क्षेत्रों के अपने दौरे में सर्वाधिक बाढ़ प्रभावित क्षेत्र मेरठ जनपद के हस्तिनापुर, मुजफ्फरनगर के रामराज और बिजनौर के शेरकोट का दौरा किया जहां सैकड़ों गांव बाढ़ ग्रस्त हैं। बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में पाया गया कि प्रशासन से राहत मांगने पर पीड़ितों पर उल्टे लाठियां बरसाई गईं हैं। राहत की कोई व्यवस्था नहीं की गई है। गांवों में चार-पांच फीट से अधिक पानी चढ़ा हुआ है। सहायता से निराश-हताश लोग किसी तरह गांव से पलायन कर चुके हैं। अनेक जगह पर ट्रैक्टर ट्राली फंसी हुयी हैं। करोड़ों रूपये की फसलें नष्ट हो चुकी हैं।
बिजनौर जनपद के गांव नवलपुर ब्रहपुरी पानी में पूरी तरह से डूबे हुये हैं। शेरकोट इलाके के गांव हरेवली, हाफिजाबाद, भूतपुरी और इसके आस-पास के गांव तबाह हो चुके हैं। बाढ़ में फंसे लोगों को निकालने का कोई इंतजाम नहीं हुआ। भारी शोर-शराबा होने पर तीन-चार नाव भेजी गईं उनमें भी मारा-मारी हुई। जिला प्रशासन के अधिकारी भी इन क्षेत्रों में तब पहुंचे जब सिंचाई मंत्री का इन इलाकों का हवाई दौरा हुआ था। हज़ारों पशु दम तोड़ गए हैं और अब इन इलाकों में महामारी का दौर शुरू हो गया है। सूर्यप्रताप शाही ने बाढ़ की भयावहता के बारे में कहा कि क्षेत्र के पचास से अधिक गांव में पांच से दस फीट तक पानी भरा हुआ है, सरकार की तरफ से कोई राहत शिविर नहीं लगाये गये हैं।
गांव वालों ने उन्हें बताया कि राहत के नाम पर दो माह में केवल पांच लीटर मिट्टी का तेल दिया गया है और राहत बांटने में भी प्रशासन तुष्टीकरण की नीति अपनाते हुये भेद-भाव कर रहा है। बाढ़ से बांध खतरे में हैं, सड़कें कट गई हैं उनके कटाव को रोकने का कोई उपाय नहीं किया गया है जबकि भारी बारिश को देखते हुए पहले ही ऐसी स्थिति से निपटने के प्रबंध किए जा सकते थे। गन्ना, धान आदि की फसलें पूरी तरह से तबाह हो गयी हैं, राहत कार्य में राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ, भाजपा के लोग ही कार्य कर रहे है। प्रशासन ने भोजन पैकेट या अन्य कोई सामग्री उपलब्ध नहीं करायी है जो कि अत्यन्त निन्दनीय है।
सूर्यप्रताप शाही ने बताया कि शेरकोट में इस आपदाकाल में अराजक तत्वों को भी वहां का प्रशासन अराजकता फैलाने से नहीं रोक सका है। वहां पर बड़े पैमाने पर लोगों ने शिकायत की कि ये अराजक तत्व बाढ़ में मजबूर महिलाओं के साथ छेड़खानी एवं लूटपाट कर रहे हैं। भारी संख्या में महिलाओं ने रोकर उनसे अपनी व्यवस्था कही। ग्रामीणों ने ऐसे तत्वों को थाने पहुंचाया तो सत्तापक्ष के विधायक के दबाव में उन्हें छोड़ दिया गया। ऐसा लगातार हो रहा है जिससे इन तत्वों के हौसले और बढ़ गए हैं। प्रशासन ने ऐसी शिकायतों को दरकिनार कर रखा है जोकि अत्यन्त शर्मनाक है।
भाजपा अध्यक्ष ने उत्तर प्रदेश शासन से मांग की है कि बाढ़ग्रस्त क्षेत्रों में किसानों और अन्य प्रभावित लोगों की क्षति का बिना भेद-भाव के आंकलन कर तत्काल राहत की व्यवस्था की जाए और महिलाओं से सीना-जोरी एवं लूट-पाट करने वाले अराजक तत्वों को सख्ती के साथ दण्डित किया जाए। पश्चिम उत्तर प्रदेश के बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों के इस दौरे में उनके साथ भाजपा के प्रदेश उपाध्यक्ष और पूर्व मंत्री वीरेन्द्र सिंह सिरोही, डॉ लक्ष्मीकांत बाजपेई, पश्चिम क्षेत्र के अध्यक्ष विधायक सत्यप्रकाश अग्रवाल, भाजपा के क्षेत्रीय मंत्री भूपेन्द्र सिंह, प्रदेश मंत्री अश्विनी त्यागी, अशोक कटारिया, कविता चौधरी, पूर्व मंत्री भारतेन्दु सिंह, विधायक अशोक कंसल, व्यापारी नेता बृजेन्द्र अग्रवाल, जिलाध्यक्ष डॉ चरण सिंह लिसाड़ी, विमल शर्मा, लोकेन्द्र सिंह चौहान, सुरेश राणा, कान्ता कर्दम, आदि शामिल रहे।
भाजपा प्रवक्ता विजय बहादुर पाठक ने प्रदेश सरकार पर बाढ़ ग्रस्त इलाकों में सामान्य बुनियादी सहायता उपलब्ध न कराने का आरोप लगाया है। प्रवक्ता ने कहा कि राज्य सरकार हर संवेदनशील घटना पर मात्र चिट्ठी लिखकर अपने कर्तव्यों की इतिश्री कर रही है और राज्य के वरिष्ठतम काबीना मंत्री बाढ़ ग्रस्त्र क्षेत्रों में अपना स्वागत करा रहे हैं। प्रवक्ता ने राज्य सरकार को चिट्ठी वाली सरकार बताते हुए कहा कि मूर्तियों, पार्को पर कई हजार करोड़ रूपये खर्च करने वाली प्रदेश सरकार प्राकृतिक आपदाओं के प्रति संवेदनहीन है। सूखाग्रस्त बुंदेलखण्ड का प्रकरण हो या पूर्वाचल में फैले जापानी इन्फेलाइट्सि का कहर या अब बाढ़, हर मामले में राज्य सरकार केन्द्र को पत्र लिखकर अपने कर्तव्यों की पूर्ति मान ले रही है।
प्रदेश बाढ़ की भंयकर विभीषिका झेल रहा है। बाढ़ प्रभावित इलाकों में राहत सामग्री का अभाव है। लोगों को सुरक्षित स्थान पर पहुंचाने के लिए न तो आवश्यक मोटर वोटों का इन्तजाम है और न ही सरकार बुनियादी सुविधाएं उपलब्ध करा पा रही है। बाढ़ ग्रस्त क्षेत्रों में हवाई दौरों के बाद हुई घोषणाएं भी हवाई साबित हो रही हैं जबकि जमीनी हकीकत में रोजमर्रा की आवश्यक वस्तुओं का भारी अभाव है।प्रदेश अध्यक्ष सूर्य प्रताप शाही ने बाढ़ग्रस्त मेरठ, मुजफ्फरनगर, बिजनौर, मुरादाबाद जिलों में दौरा कर कई क्षेत्रों में भाजपा कार्यकताओं को निर्देश दिये हैं कि वे बाढ़ पीड़ितों के मदद के लिए राहत शिविर लगाएं और उन्हें आवश्यक वस्तुएं मुहैया कराएं।

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