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राष्ट्रपति से मिले जिम्बाब्वे के सांसद

भारत-जिम्बाब्वे के संबंध सदियों पुराने-द्रौपदी मुर्मु

भारत की लोकतांत्रिक व्यवस्थाओं के बारे में जाना

स्वतंत्र आवाज़ डॉट कॉम

Thursday 8 December 2022 11:40:33 AM

president meet the parliamentary delegation from zimbabwe

नई दिल्ली। जिम्बाब्वे की संसद के स्पीकर एडवोकेट जैकब फ्रांसिस न्ज्विदामिलिमो मुडेंडा के नेतृत्व में जिम्बाब्वे के एक संसदीय प्रतिनिधिमंडल ने राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु से मुलाकात की। राष्ट्रपति भवन में प्रतिनिधिमंडल का स्वागत करते हुए राष्ट्रपति ने कहाकि भारत और जिम्बाब्वे केबीच के संबंध सदियों पुराने हैं, जिम्बाब्वे में भारतीय मूल के लगभग 9000 लोगों की उपस्थिति हमारे लोगों केबीच एक महत्वपूर्ण कड़ी है। राष्ट्रपति को यह जानकर प्रसन्नता हुईकि जिम्बाब्वे केसाथ भारत के आर्थिक संबंध अच्छी तरह से आगे बढ़ रहे हैं।
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने कहाकि भारत और जिम्बाब्वे केबीच लगभग 200 मिलियन डॉलर का व्यापार है, भारतीय कंपनियों ने जिम्बाब्वे में लगभग 500 मिलियन डॉलर का निवेश किया है और भारत ने जिम्बाब्वे को पांच ऋण सुविधाएं प्रदान कीं हैं एवं एक व्यावसायिक प्रशिक्षण केंद्र भी स्थापित किया है। राष्ट्रपति ने कहाकि उन्हें यह जानकर भी खुशी हुईकि भारत की आईटीईसी और आईसीसीआर छात्रवृत्तियां जिम्बाब्वे के लोगों केबीच लोकप्रिय हैं। उन्होंने संसदीय प्रतिनिधिमंडल से कहाकि हमें अपने द्विपक्षीय सहयोग को बढ़ाने केलिए और प्रयास करने चाहिएं।
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने कहाकि संसद लोगों की इच्छाओं का प्रतिनिधित्व करती है, हमारी दोनों संसदों केबीच और अधिक संवाद और विचारों का आदान-प्रदान होना चाहिए, हमें एक-दूसरे से बहुत कुछ सीखना है। राष्ट्रपति ने कहाकि भारत दुनिया का सबसे बड़ा लोकतंत्र है, हमारा मजबूत और जीवंत लोकतंत्र जमीनी स्तरसे शुरू होता है, यह वास्तव में इस देश के लोगों का प्रतिनिधित्व करता है। उन्होंने विश्वास व्यक्त कियाकि इस यात्रा के दौरान जिम्बाब्वे के संसदीय प्रतिनिधिमंडल को भारत की लोकतांत्रिक प्रणालियों के बारेमें और जानकारियां प्राप्त होंगी।

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