 
   
    'निजी क्षेत्र आगे आएं और विश्वभर में भारत का परचम लहराएं'
'निजी क्षेत्र आगे आएं और विश्वभर में भारत का परचम लहराएं' रक्षा क्षेत्र में केंद्रीय बजट प्रावधानों के क्रियांवयन पर वेबिनार हुआ
रक्षा क्षेत्र में केंद्रीय बजट प्रावधानों के क्रियांवयन पर वेबिनार हुआस्वतंत्र आवाज़ डॉट कॉम
Monday 22 February 2021 01:04:47 PM
 
                          
 
 नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज रक्षा क्षेत्र में केंद्रीय बजट प्रावधानों के प्रभावी क्रियांवयन के लिए आयोजित वेबिनार को संबोधित करते हुए कहा है कि भारत रक्षा क्षेत्र में कैसे आत्मनिर्भर बने इस संदर्भ में आज का ये संवाद बहुत अहम है। उन्होंने कहा कि आजादी के पहले हमारे यहां सैकड़ों ऑर्डिनेंस फैक्ट्रियां होती थीं, दोनों विश्व युद्धों में भारत से बड़े पैमाने पर हथियार बनाकर भेजे गए थे, लेकिन आजादी के बाद अनेक वजहों से इस व्यवस्था को उतना मजबूत नहीं किया गया, जितना किया जाना चाहिए था। प्रधानमंत्री ने बताया कि हमारी सरकार ने अपने इंजीनियरों-वैज्ञानिकों और तेजस लड़ाकू विमान की क्षमताओं पर भरोसा किया है और आज तेजस शान से आसमान में उड़ान भर रहा है, कुछ सप्ताह पहले ही तेजस के लिए 48 हजार करोड़ रुपए का ऑर्डर दिया गया है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि 2014 से ही पारदर्शिता, भविष्यवाणी और व्यापार करने में आसानी के साथ हम इस क्षेत्र में आगे बढ़ रहे हैं, डी-लाइसेंसिंग, डी-विनियमन, निर्यात संवर्धन, विदेशी निवेश उदारीकरण आदि के साथ हमने इस क्षेत्र में एक के बाद एक कदम उठाए हैं। प्रधानमंत्री ने कहा कि भारत ने डिफेंस से जुड़े ऐसे 100 महत्वपूर्ण डिफेंस आइटम्स की लिस्ट बनाई है, जिन्हें हम अपनी स्थानीय इंडस्ट्री की मदद से ही मैन्यूफैक्चर कर सकते हैं, इसके लिए टाइमलाइन रखी गई है, ताकि हमारी इंडस्ट्री इन ज़रूरतों को पूरा करने का सामर्थ्य हासिल करने के लिए प्लान कर सकें। उन्होंने कहा कि सरकारी भाषा में ये नकारात्मक सूची है, लेकिन आत्मनिर्भरता की भाषा में ये सकारात्मक सूची है, ये वो पॉजिटिव लिस्ट है, जिसके बल पर हमारी अपनी विनिर्माण क्षमता बढ़ने वाली है, ये भारत में ही रोज़गार निर्माण का काम करेगी, रक्षा ज़रूरतों के लिए विदेशों पर निर्भरता को कम करेगी, इसकी वजह से भारत में बने प्रॉडक्ट्स की, भारत में बिकने की गारंटी है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बताया कि रक्षा के पूंजीगत बजट में भी घरेलू खरीद के लिए एक हिस्सा रिज़र्व कर दिया गया है। उन्होंने निजी क्षेत्र से आग्रह किया कि विनिर्माण के साथ-साथ डिज़ाइन और विकास में भी निजी क्षेत्र आगे आएं और भारत का विश्वभर में परचम लहराएं। उन्होंने कहा कि एमएसएमई तो पूरे मैन्युफेक्चरिंग सेक्टर के लिए रीढ़ का काम करती है, आज जो रिफॉर्म्स हो रहे हैं, उससे एमएसएमई को ज्यादा आजादी मिल रही है, उनको विस्तार करने के लिए प्रोत्साहन मिल रहा है। प्रधानमंत्री ने कहा कि देश में आज जो डिफेंस कॉरिडोर बनाए जा रहे हैं, वो भी स्थानीय उद्यमियों, लोकल मैन्यूफैक्चरिंग को मदद करेंगे यानी आज हमारे डिफेंस सेक्टर में आत्मनिर्भरता को हमें ‘जवान भी और नौजवान भी’ इन दोनों मोर्चों के सशक्तिकरण के रूपमें देखना होगा।