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अफगान में भी भारतीय दूतावास पर हमला

आईटीबीपी ने कार्रवाई में दो आतंकवादी मार गिराए

नरेंद्र मोदी और अशरफ गनी ने की कड़ी निंदा

स्वतंत्र आवाज़ डॉट कॉम

Sunday 3 January 2016 04:17:20 PM

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काबुल/ नई दिल्ली। अफगानिस्तान के शहर मजार-ए-शरीफ में भी रविवार को भारतीय दूतावास पर भयावह हमला करने वाले दो सशस्त्र आतंकवादियों को दूतावास की सुरक्षा में तैनात भारतीय सुरक्षाबलों ने तत्काल कार्रवाई करके मार गिराया है। बताया जा रहा है कि वे भारतीय दूतावास परिसर में घुसने की कोशिश कर रहे थे, जिसके अंतर्गत पहले उन्होंने दो-तीन बड़े धमाके किए, मगर तभी जवाबी कार्रवाई में भारतीय जवानों ने उन आतंकवादियों को मार गिराया। विदेश मंत्रालय ने कहा है कि सभी भारतीय सुरक्षित हैं। ज्ञातव्य है कि कल ही भारत में पंजाब के पठानकोट में भारतीय एयर‌फोर्स बेस पर पांच पाकिस्तानी आतंकवादियों ने हमला किया था। इस हमले के भी सभी आतंकवादी मारे जा चुके हैं, किंतु यहां सुरक्षा बलों से मुठभेड़ में करीब सात भारतीय जवान मारे गए हैं। यह बहुत ही भयानक हमला था, जिसमें एयरबेस को ही बड़ा नुकसान हो सकता था, जिसे विफल कर दिया गया। प्र्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और अफगानिस्तान के राष्ट्रपति अशरफ गनी ने हमले की कड़ी निंदा की है।
रिपोर्टों के मुताबिक आतंकवादियों ने मजार-ए-शरीफ में भारतीय वाणिज्य दूतावास में दाखिल होने की कोशिश की। दूतावास के बाहर एक मकान में छिपे बैठे कुछ और आतंकवादी भी फायरिंग कर उन्हें कवर दे रहे थे। उनकी फायरिंग चलती रही। आईटीबीपी भारतीय वाणिज्य दूतावास की सुरक्षा करता है। इस हमले में अफगानिस्तान और पाकिस्तान में सक्रिय हक्कानी नेटवर्क के शामिल होने की आशंका जताई जा रही है। अफगानिस्तान की स्पेशल फोर्स भी सूचना पाकर मजार-ए-शरीफ पहुंच गई है। तीन आतंकवादी दूतावास के बाहर बताए जा रहे हैं। ज्ञातव्य है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अभी हाल में मजार-ए-शरीफ में भारतीय वाणिज्य दूतावास गए थे। उन्होंने अफगानिस्तान की संसद के उद्घाटन में भी भाग लिया था, जहां तक है कि भारत की अफगानिस्तान से बढ़ती निकटता से आतंकवादी गुट बौखलाए हैं, जिन्होंने ये हमला किया।
मजार-ए-शरीफ अफगानिस्तान का तीसरा बड़ा शहर है और यह काबुल से करीब 425 किलोमीटर दूर है। भारतीय विदेश मंत्रालय का कहना है कि दूतावास पर हुए हमले में किसी भारतीय के हताहत होने की खबर नहीं है। दूतावास में महावाणिज्य दूत बी सरकार ने कहा कि सभी सुरक्षित हैं। उत्तरी अफगान के इस शहर में भारतीय दूतावास की सुरक्षा भारतीय जवान करते हैं। बताया जाता है कि गोलीबारी करीब 20 मिनट चली, लेकिन भारतीय जवानों की सुरक्षात्मक कार्रवाई के सामने आतंकवादियों के होश उड़ गए। साथी आतंकवादियों ने पास की इमारत से गोलियां चलाईं, लेकिन कोई वाणिज्य दूतावास के अंदर नहीं घुस सका। वाणिज्य दूतावास के भारतीय अधिकारी ने कहा है कि हम पर हमला किया गया है। दिल्ली में विदेश मंत्रालय ने फिलहाल कोई टिप्पणी नहीं की है। उसका कहना है कि विस्तृत जानकारी का इंतजार है। आज का हमला युद्ध प्रभावित अफगानिस्तान में भारतीयों पर एक और हमला है।
अफगानिस्तान में ये हमला ऐसे समय हुआ है, जब भारतीय सुरक्षा बल और पंजाब के पठानकोट में वायुसेना अड्डे पर हमला करने वाले पाकिस्तानी आतंकवादियों से मुठभेड़ जारी है। इसकी किसी संगठन ने अभी जिम्मेदारी नहीं ली है। भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 25 दिसंबर को संक्षिप्त काबुल दौरे पर भारत द्वारा बनाई गई अफगान संसद की नई इमारत का उद्घाटन किया था। संसद को संबोधित करते हुए नरेंद्र मोदी ने कहा था कि अफगानिस्तान केवल तब सफल होगा, जब सीमापार से आतंकवाद बंद होगा और जब आतंकवाद की नर्सरी एवं शरणस्थली बंद होंगी। उधर नई दिल्ली में केंद्रीय गृह सचिव राजीव महर्षि ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में पठानकोट की पूरी आतंकवादी वारदात की जानकारी देते हुए बताया की खुफिया सूचनाओं की वजह से इस ऑपरेशन को बेहद सधे हुए तरीके से अंजाम दिया गया। उन्होंने कहा कि एयरफोर्स की संपत्ति के नुकसान की कोई खबर नहीं है।

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